आचार्य कहते हैं कि व्यक्ति का धन संचय करना बेहद जरुरी है ताकि बुरे वक्त पर काम आ सके और धनवान व्यक्ति को जरूरतमंदों को को दान करना चाहिए और इसे गुप्त रखना चाहिए
चाणक्य बताते हैं कि विद्या और ज्ञान ऐसा धन है जिनके जरिये कठिन और बुरे वक्त को आसानी से काटा जा सकता है, शिक्षित और ज्ञानी व्यक्ति को सदैव मान सम्मान प्राप्त होता है
चाणक्य के अनुसार हर व्यक्ति को जीवन में परेशानियों का सामना करना पड़ता है, जन्म लेने वाले हर व्यक्ति का दुःख सुख से सीधा नाता है बुरा वक्त व्यक्ति की परीक्षा लेता है